योग (संस्कृत: योग): योग का अर्थ है दो चीजों का मिलना ! इसे आध्यात्मिक प्रक्रिया से जोड़कर देखा जाता है परंतु योग से शरीर, आत्मा, मन को एक साथ कंट्रोल करने का काम करता है योग जुड़ा हुआ या जुड़ना महसूस करना
हिंदू धर्म में योग ध्यान प्रक्रिया पर जोर दिया गया है इसका मतलब है मनुष्य (Human) का भगवान के साथ जुड़ा हुआ महसूस करना
योग करने से वजन कम होता है यह सबको पता है पर क्या आप जानते हैं आप अगर योगाभ्यास करते रहते हैं तो आपके शरीर के अंदर बहुत ज्यादा लचीलापन आता है और आपका दिमाग बहुत अच्छे से काम कर पाता है योग शरीर और मन के बीच बैलेंस बनाने का काम करता है और योग से आप अपने मन को बहुत अच्छे से कंट्रोल कर पाते हैं योगासन अलग-अलग प्रकार के होते हैं जिसके अभ्यास से खून का चलो दिमाग की तरह होता है जिससे ब्रेन या दिमाग की से जुड़ी कई प्रॉब्लम को दूर करने में मदद मिलती है
1.योग के अभ्यास की कला व्यक्ति के मन, शरीर और आत्मा को कंट्रोल करने में मदद करती हैं।
यह शरीर में मानसिक संतुलन, लचीलापन, मांसपेशियों को मजबूत करने और शारीरिक स्वास्थ्य को बढ़ाने में भी मदद करता हैं।
2.योग के कितने अंग होते हैं?
योग के तीन अंग (करने का तरीका अंग कहलाता है) ध्यान लगाना, आसन (एक जगह पर बैठना) और प्राणायाम ( सांसो पर कंट्रोल )
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3. भोजन के बाद कौन सा आसन किया जाता है
केवल वज्रासन ही ऐसा योग आसन है, जिसे भोजन के बाद रात में भी किया जा सकता है।
4.योग कब नहीं करना चाहिए?
भोजन के तुरंत बाद योगासन नहीं करना चाहिए योगा को हमेशा खाने के 2 से 3 घंटे बाद ही करना चाहिए इसके अलावा योगा को आप सुबह खाली पेट भी कर सकते हैं आपको अच्छे परिणाम देगा
5.योग का असर कितने दिन में दिखता है?
योग अगर सही तरीके से किया जाए तो इसका असर 4-5 दिन में दिखने लगता है। शरीर से आलस गायब होना, धीरे-धीरे स्टेमिना के साथ एनर्जी लेवल बढ़ने लगता है
6.क्या दिन में 15 मिनट योग करना काफी है?
अगर आप योगा को सही तरीके से करते हैं तो योगा के लाभ आपको बहुत जल्द दिखने लग जाते हैं आपके पूरे स्वास्थ्य को अच्छे तरीके से रखने के लिए दिन में 15 से 20 मिनट योगा बहुत माना गया है योगा के लाभ बहुत शक्तिशाली होते हैं यह आपको कुछ ही दिन में दिखने लग जाते हैं
हेल्थी 7 योगासन जो दिमाग ब्रेन को बना सकते हैं तेज
योग विज्ञान को नेचर साइंस भी कहा जाता है।
आज इंसान जिन शारीरिक और मानसिक problems को फेसकर रहा है, योग विज्ञान ने उन सभी problems का हल हजारों साल पहले बता दिया था। स्ट्रेस, डिप्रेशन, एंग्जाइटी और जैसी तमाम समस्याएं हैं जो योग योगासन से ठीक हो सकती है परंतु योगा का अभ्यास करना पड़ता है
योग और मस्तिष्क
1. बालासन – बालासन के अभ्यास से मन पर कंट्रोल किया जा सकता है वह नेगेटिविटी को भी दूर किया जा सकता है यह तनाव को भी कम करता है और विचारों को नए तरीके से सोचने में मदद करता है
अभ्यास 1 से 5 मिनट तक किया जा सकता है

2. उत्तानासन – ब्रेन में रक्त संचार बढ़ने के कारण ये दिमाग को शांत करता है और एंग्जाइटी (Anxiety) से राहत देता है। सिरदर्द और इंसोम्निया की समस्या होने पर भी इसका अभ्यास आराम देता है।
3. हलासन – हलासन मेटाबॉलिज्म रीट को बढ़ाता है वह वजन घटाने में काफी मददगार साबित होता है हलासन से रीड की हड्डी में लचीलापन बढ़ता है और यह गर्दन और दिमाग के बीच मांसपेशियों को मजबूत करता है
हलासन का अभ्यास थकान मिटाने वाला स्ट्रेस को दूर करने वाला होता है
यह आसन कमजोर याददाश्त वाले लोगों के लिए रामबाण की तरह काम करता है
4. अधोमुख श्वानासन – इस आसन को करने से शरीर में लचीलापन फ्लैक्सिबिलिटी बढ़ती है तनाव कम होता है और शरीर में ब्लड फ्लो अच्छे से होता है ये आसन ब्रेन को एक्टिवेट करने में मदद कर पाता है
5. जानु शीर्षासन – इस आसन को करने से दिमाग को शांत शांति मिलती है वह इससे जो हाइपरटेंशन या दिमाग से जुड़ी प्रॉब्लम से जूझ रहे होते हैं उनको आराम मिलता है
6. उपविष्ठ कोणासन – इस आसन को से दिल को ज्यादा मेहनत करते हुए दिमाग की तरफ रक्त को पंप करना पड़ता है। ये स्थिति ब्रेन के फंक्शन को बेहतर बनाने में मददगार है.
7. शवासन – यह आसन ब्रेन के लिए कंप्लीट आसन माना गया है शवासन डिप्रेशन को कम करता है ब्लड प्रेशर, सिरदर्द, थकान, एंजाइटी को दूर करने में मदद करता है शवासन नर्वस सिस्टम को शांत रखने में मदद करता है और (concentration) एकाग्रता पावर को बढ़ाता है इस आसन को अपने आप में कंप्लीट आसन माना गया है
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